दुनियाभर में लाखों यूज़र्स के बीच लोकप्रिय हो चुका Pi Network अब अपने टोकनॉमिक्स मॉडल को लेकर चर्चा में है। हाल ही में नेटवर्क ने 100 बिलियन टोकन की टोटल सप्लाई के साथ एक नया और ट्रांसपेरेंट टोकनॉमिक्स सिस्टम पेश किया है। इस मॉडल की सबसे खास बात यह है कि इसकी संरचना पूरी तरह से कम्युनिटी पार्टिसिपेशन पर बेस्ड है। नेटवर्क का लक्ष्य है कि मेननेट पर माइग्रेशन की प्रोसेस को जितना संभव हो, उतना फ़ास्ट, न्यूट्रल और कलेक्टिव रूप से आगे बढ़ाया जाए। यह मॉडल यह सुनिश्चित करता है कि किसी को भी अनफेयर एडवांटेज न मिले और नेटवर्क की तरक्की सभी के साथ कदम मिलाकर हो।
Pi Network ने अपने टोकनॉमिक्स मॉडल का खुलासा करते हुए यह जानकारी दी है कि नेटवर्क की टोटल टोकन सप्लाई 100 बिलियन Pi Token होगी। इस मॉडल का मुख्य उद्देश्य है कि अधिक से अधिक Pioneers को जल्दी से जल्दी मेननेट पर लाया जाए और यह सुनिश्चित किया जाए कि कोई भी पक्ष अनफेयर एडवांटेज न उठा सके।
टोकन का विभाजन इस प्रकार है:
65% (65 बिलियन Pi) सिर्फ कम्युनिटी के माइनिंग रिवॉर्ड्स के लिए अलोकेट है।
10% (10 बिलियन Pi) Pi Foundation के लिए रखा गया है।
5% (5 बिलियन Pi) लिक्विडिटी रिक्वायरमेंट्स के लिए तय किया गया है।
20% (20 बिलियन Pi) Core Team के लिए निर्धारित है।
इस पूरे सिस्टम की सबसे खास बात यह है कि सभी टोकन अलोकेशन उसी स्पीड से एक्टिव होते हैं जिस रफ्तार से कम्युनिटी अपने माइन किए गए Pi Coin को मेननेट पर माइग्रेट करती है। अगर कम्युनिटी धीरे माइग्रेट करती है, तो Foundation, Core Team और Liquidity Pools को भी उनके हिस्से के टोकन उतनी ही कम स्पीड से मिलते हैं। वहीं हाल ही में Pi Coin से सम्बंधित एक और महत्वपूर्ण न्यूज़ सामने आई है, जिसमें बताया गया है कि Pailot अब Pi Core Team के साथ Mainnet Listing के लिए तैयार है।
हालांकि 100 बिलियन टोकन नेटवर्क की जेनेसिस में ही मिंट हो चुके हैं, लेकिन उनमें से कौन-से टोकन वास्तव में उपयोग में आ सकते हैं, वह केवल इस बात पर निर्भर करता है कि कितने Pioneers ने अपने टोकन मेननेट पर माइग्रेट किए हैं। इसे "Effective Total Supply" कहा जाता है।
इसका कैलकुलेशन भी बहुत सरल है-
Effective Total Supply = Migrated Rewards ÷ 65%
यानि अगर 6.5 बिलियन टोकन माइग्रेट हो चुके हैं, तो टोटल इफेक्टिव सप्लाई होगी -
6.5 ÷ 0.65 = 10 बिलियन Pi
न Foundation, Liquidity और Core Team के बाकी के टोकन भी इसी रेश्यो में ही एक्टिव होंगे। इसका मतलब यह है कि कोई भी पक्ष खुद से आगे नहीं बढ़ सकता जब तक कि कम्युनिटी खुद आगे न बढ़े। इससे न केवल ट्रांसपेरेंसी बनी रहती है, बल्कि टोकन डंपिंग या एक्सेस में असमानता जैसी समस्याएं भी नहीं होती।
Pi Network का यह नया टोकनॉमिक्स मॉडल क्रिप्टो वर्ल्ड में ट्रांसपेरेंसी, फेयरनेस और कम्युनिटी-फर्स्ट अप्रोच को बढ़ावा देता है। यह न सिर्फ एक टेक्निकल स्ट्रक्चर है, बल्कि एक विचार है, जिसमें सबका पार्टिसिपेशन और जिम्मेदारी साथ-साथ चलती है।
यह मॉडल क्रिप्टो प्रोजेक्ट्स की दुनिया में एक नई मिसाल कायम करता है, जहां प्रोग्रेस सिर्फ नेटवर्क की नहीं, बल्कि हर उस यूज़र की होती है जो उसमें हिस्सा ले रहा है। Pi Network की यह पहल दर्शाती है कि क्रिप्टो का फ्यूचर सिर्फ फ़ास्ट नहीं, बल्कि कलेक्टिव होना चाहिए। इसके साथ ही अगर आप Pi Network से सम्बंधित अन्य न्यूज़ पढ़ना चाहते है तो हमारे Altcoin News सेक्शन पर जाकर पढ़ सकते है, जहाँ आपको All Mainnet Developers के लिए Open हुआ Pi Ad Network, इस तरह की न्यूज़ पढ़ने को मिलेगी।
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