ग्लोबल मैनेजमेंट कंसल्टिंग फर्म “Boston Consulting Group” ने हाल ही में एक रिपोर्ट जारी की है, जिसमें कहा गया है, कि Ripple का टारगेट है Tokenized Assets के मार्केट को 2033 तक $18.9 ट्रिलियन तक पहुँचाना। रिपोर्ट के अनुसार, यह टेक्नोलॉजी एक "Tipping Point" के करीब पहुंच रही है, जिससे यह मार्केट में रिवोल्यूशन ला सकती है।
Tokenization का मतलब है, ब्लॉकचेन टेक्नोलॉजी का उपयोग करके असेट्स का मालिकाना हक रिकॉर्ड करना और उन्हें एक स्थान से दूसरे स्थान पर ट्रांसफर करना। इसमें सिक्योरिटीज, कमोडिटीज, रियल एस्टेट जैसी असेट्स शामिल हो सकती हैं। यह टेक्नोलॉजी क्रिप्टो सेक्टर में तेजी से लोकप्रिय हो रही है और कई ट्रेडिशनल फाइनेंशियल कंपनियां इसे अपना रही हैं ताकि वे ज्यादा इफिशिएंसी के साथ काम कर सकें, तेज़ और सस्ते निपटान हासिल कर सकें और 24x7 ट्रांजैक्शंस कर सकें।
रिपोर्ट के अनुसार, Tokenized Assets का मार्केट औसतन 53% की एनुअल ग्रोथ रेट (CAGR) से बढ़ सकता है। यह रिपोर्ट तीन संभावनाओं पर बेस्ड है। एक अनुमान यह है कि 2033 तक यह $12 ट्रिलियन तक पहुंचेगा, जबकि एक और ऑप्टिमिस्टिक जजमेंट $23.4 ट्रिलियन का है।
JPMorgan का Kinexys Platform पहले ही $1.5 ट्रिलियन से अधिक के Tokenized ट्रांजैक्शंस प्रोसेस कर चुका है। वहीं BlackRock का Tokenized U.S. Dollar Money Market Fund (BUILD) $2 बिलियन के करीब पहुंच चुका है और अब यह DeFi (Decentralized Finance) में भी इस्तेमाल हो रहा है।
पूर्व खबरों के अनुसार, BlackRock की FCA Registration से UK Crypto Market में एंट्री हो गई है BlackRock ने UK के Financial Conduct Authority से क्रिप्टो असेट फर्म के रूप में कार्य करने की मंजूरी प्राप्त की है। इस कदम से न केवल BlackRock का क्रिप्टो सेक्टर में विस्तार होगा, बल्कि ग्लोबल फाइनेंशियल सिस्टम में क्रिप्टोकरेंसी का महत्व भी बढ़ेगा।
रिपोर्ट में Tokenized सरकार के बॉंड्स, जैसे कि U.S. Treasuries को एक बड़ी सफलता के रूप में हाइलाइट किया गया है। इसके माध्यम से कॉर्पोरेट ट्रेज़रीज़ बिना किसी इंटरमीडियरी के डिजिटल वॉलेट्स से टोकनाइज्ड शॉर्ट-टर्म सरकारी बॉंड्स में कैश ट्रांसफर कर सकते हैं और रियल टाइम में लिक्विडिटी को मैनेज कर सकते हैं।
इसके अलावा, प्राइवेट क्रेडिट और कार्बन मार्केट्स जैसे क्षेत्रों में भी Tokenization का बड़ा संभावित प्रभाव देखा जा रहा है। ये ट्रेडिशनल रूप से अव्यवस्थित और कठिन मार्केट को निवेशकों के लिए और अधिक ट्रांसपेरेंट और एक्सेसिबल बना सकते हैं। इस रिपोर्ट से यह स्पष्ट है कि Tokenization का फ्यूचर बहुत ब्राइट है और जैसे-जैसे टेक्नोलॉजी डेवलप हो रही है, फाइनेंशियल वर्ल्ड में इसकी उपयोगिता बढ़ती जाएगी।
Tokenization के माध्यम से फाइनेंशियल वर्ल्ड में बदलाव की संभावना है। यह टेक्नोलॉजी ट्रेडिशनल इंवेस्टमेंट्स मेथड्स को ज्यादा एक्सेसिबल और सस्ती बना सकती है। रिपोर्ट में यह भी स्पष्ट है कि सरकार के बॉंड्स, प्राइवेट क्रेडिट और कार्बन मार्केट्स जैसे क्षेत्रों में भी Tokenization का प्रभाव देखा जा सकता है। जैसे-जैसे यह टेक्नोलॉजी डेवलप होगी, इसे और अधिक फाइनेंशियल आर्गेनाइजेशन अपनाएंगी, जिससे इसका उपयोग बढ़ेगा और फाइनेंशियल ट्रांसपेरेंसी में भी सुधार होगा।
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